भारतीय पर्यटन उद्योग, सबसे बड़ा सेवा उद्योग

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भारतीय पर्यटन उद्योग, सबसे बड़ा सेवा उद्योग
08 Jan 2024
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पर्यटन एक ऐसी यात्रा है जो मनोरंजन या फुरसत के क्षणों का आनंद उठाने के उद्देश्यों से की जाती है। पर्यटन से भारत की अर्थव्यवस्था को बहुत आधार मिल रहा है। पर्यटन एक ऐसा उद्योग है जिससे स्थानीय लोगों कों बड़े पैमाने पर रोजगार उपलब्ध होता है।

भारत में पर्यटन क्षेत्र देश के शीर्ष सेवा उद्योगों में से एक सबसे बड़ा सेवा उद्योग है। जहां इसका राष्ट्रीय सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में 6.23% और भारत के कुल रोज़गार में 8.78% योगदान है।

पर्यटन को आर्थिक विकास और रोज़गार सृजन का एक सशक्त माध्यम माना जाता है। क्योंकि जब एक पर्यटक किसी पर्यटन स्थल पर जाता है तो कम से कम नौ लोगों को रोजगार मिलता है। इसका महत्त्व आर्थिक विकास और विशेष तौर पर देश के दूरदराज के क्षेत्रों में रोज़गार सृजन के एक माध्यम के रूप में महत्त्वपूर्ण है।

पर्यटन का मुख्य उद्देश्य पर्यटन को विकसित करना एवं बढ़ावा देना, भारतीय पर्यटन स्थल की महत्ता एवं गुणवत्ता को बरक़रार रखना एवं उपलब्ध पर्यटन सुविधाओं एवं सेवाओं का विस्तार करना है ताकि इस क्षेत्र का आर्थिक विकास हो सके एवं इसमें रोजगार के अवसर बन सकें।

पर्यटन बढ़ेगा तो देश भी संपन्न और सुदृढ़ होगा इसमें कोई संदेह नहीं है। पर्यटन विश्व भर में लाखों लोगों के लिये आजीविका का अवसर प्रदान करता है और इससे भी कहीं अधिक लोगों को अलग-अलग संस्कृतियों और प्राकृतिक खूबसूरती को करीब से देखने का अवसर प्रदान करता है।

पर्यटन भारत में सबसे बड़ा सेवा उद्योग Indian tourism industry, the largest service industry तो है ही, इसके अलावा इस उद्योग ने बड़ी मात्रा में विदेशी मुद्रा अर्जित करने और रोजगार सृजन में अपनी विशिष्ट पहचान बना ली है।

पर्यटन उद्योग की तरफ से पेश की गई रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय पर्यटन का बाजार 2024 तक बयालीस अरब डालर और 2025 तक पैंतालीस अरब डालर तक पहुंच जाएगा।

पर्यटन Tourism को आम तौर पर व्यापार या आनंद उद्देश्यों के लिए एक अलग स्थान पर यात्रा करने के कार्य के रूप में माना जाता है। पर्यटन उद्योग tourism industry दुनिया के सबसे बड़े और सबसे तेजी से बढ़ते उद्योगों में से एक है। कई लोग अपना खाली समय यात्रा पर बिताना पसंद करते हैं।

सबसे बड़ी बात इस उभरती मांग की जरूरतों को पूरा करने के लिए इसने ट्रैवल एजेंसियों और टूर ऑपरेटरों जैसे यात्रा और पर्यटन से संबंधित व्यवसाय के लिए एक बड़ा अवसर दिया है।

पर्यटन उद्योग tourism industry, सेवा उद्योग service industry के उन सभी पहलुओं को उजागर करता है जो पर्यटकों को सेवा प्रदान करते हैं। पर्यटन एक ऐसी यात्रा (travel) है जो मनोरंजन (recreational) या फुरसत के क्षणों का आनंद उठाने के उद्देश्यों से की जाती है।

विश्व पर्यटन संगठन (World Tourism Organization) के अनुसार पर्यटक वे लोग हैं जो "यात्रा करके अपने सामान्य वातावरण से बाहर के स्थानों में रहने जाते हैं, यह दौरा ज्यादा से ज्यादा एक साल के लिए मनोरंजन, व्यापार, अन्य उद्देश्यों से किया जाता है। 

भारतीय पर्यटन उद्योग, सबसे बड़ा सेवा उद्योग Indian tourism industry, the largest service industry

भारत में पर्यटन सबसे बड़ा सेवा उद्योग Tourism is the largest service industry in India है, जहां इसका राष्ट्रीय सकल घरेलू उत्पाद (GDP) में 6.23% और भारत के कुल रोज़गार में 8.78% योगदान है। किसी विस्तृत भू-भाग में किया जाने वाला भ्रमण 'पर्यटन' कहलाता है ।

पर्यटन उद्योग ने बड़ी मात्रा में विदेशी मुद्रा अर्जित करने और रोजगार सृजन में इस अपनी विशिष्ट पहचान बना ली है। पर्यटन उद्योग की तरफ से पेश की गई रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय पर्यटन का बाजार 2024 तक बयालीस अरब डालर और 2025 तक पैंतालीस अरब डालर तक पहुंच जाएगा।

भारतीय पर्यटन अब काफी बदल गया है। आज का युग उद्योग-व्यापार युग है। क्योंकि आज सैर-सपाटा भी उद्योग बन गया है और आजकल पर्यटन का विकास भी एक उद्योग की तरह हो रहा है। भारतीय पर्यटन की बात करें तो इससे भारत की अर्थव्यवस्था को बहुत आधार मिल रहा है। पर्यटन एक ऐसा उद्योग है जिससे स्थानीय लोगों कों बड़े पैमाने पर रोजगार उपलब्ध होता है।

जब एक पर्यटक किसी पर्यटन स्थल पर जाता है तो कम से कम नौ लोगों को रोजगार मिलता है। इसमें वाहन चलाने से लेकर गाइड तक के रोजगार शामिल हैं। जब किसी पर्यटन स्थल पर एक होटल खुलता है तब उसमें बावर्ची से लेकर सुरक्षा कर्मी तक और इसमें अलग अलग चीज़ों की देख रेख करने के लिए विभिन्न स्तरों पर प्रशिक्षित, अर्ध प्रशिक्षित, अप्रशिक्षित लोगों तक को रोजगार मिलता है। 

भारतीय पर्यटन उद्योग का उज्ज्वल भविष्य Bright future of Indian tourism industry

पर्यटन उद्योग का भविष्य काफी उज्जवल है। पर्यटन को उद्योग के रूप में बढ़ावा मिलने से कई प्रकार के लाभ होते हैं, जैसे सांस्कृतिक आदान-प्रदान का लाभ, विभिन्न भाषाओं का ज्ञान, विभिन्न लोगों से परिचय, अलग अलग आदत, Benefit of cultural exchange, knowledge of different languages, introduction to different people, different habits, अभ्यास, रहन-सहन, खान-पान से प्राप्त हुई जानकारी, विभिन्न प्रकार के लोगों से परिचय होने से विश्व-शांति का प्रसार आदि भी होता है। 

सिर्फ भारत ही नहीं आज सारे विश्व में पर्यटन को एक महत्वपूर्ण, अर्थव्यवस्था को सुधारने वाला उद्योग economy-boosting industry माना जा रहा है। यहाँ तक कि कुछ राज्यों की अर्थव्यवस्था का बुनियादी आधार ही पयर्टन-उद्योग को समझा जाता है। पर्यटन के संरक्षण और विकास की ओर भी अन्य उद्योगों तरह ध्यान दिया जाना चाहिए।

पर्यटन को आय का स्त्रोत बनाने के लिए प्रांतीय एंव राष्ट्रीय सरकारें सबसे पहले प्राकृतिक, ऐतिहासिक, धार्मिक और कलात्मक दृष्टि से महत्वपूर्ण स्थानों का विकास करके उन्हें दर्शनीय बनाती हैं।

वहां पर सारी व्यवस्था की जाती है। वहां पर होटल, लॉज, आदि खुलते हैं। इसके अलावा कई प्रकार के सहयोगी धंधे भी पर्यटन-स्थानों पर खुल जाते हैं और कई लोगों के लिए रोजगार मिलता है। यही वजह है कि पयर्टन का महत्व एक महत्वपूर्ण उद्योग के रूप में काफी बढ़ गया है। 

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भारत में पर्यटन का विकास Development of tourism in India

पर्यटन का मुख्य उद्देश्य पर्यटन को विकसित करना एवं बढ़ावा देना develop and promote tourism, भारतीय पर्यटन स्थल की महत्ता एवं गुणवत्ता को बरक़रार रखना Maintaining the importance and quality of Indian tourist destination एवं उपलब्ध पर्यटन सुविधाओं एवं सेवाओं का विस्तार करना है ताकि इस क्षेत्र का आर्थिक विकास हो सके एवं इसमें रोजगार के अवसर बन सकें।

आवागमन की सुविधाओं में सुधार आने से पर्यटन को बढ़ावा मिलता है। भारत में हवाई सेवाओं का विकास होने से भारतीय पर्यटन को बढ़ावा मिल रहा है। पर्यटन इतना बड़ा क्षेत्र है कि अगर दुनिया के पैमाने पर देखें तो रोजगार प्राप्त करने वाला हर दसवां व्यक्ति पर्यटन के क्षेत्र में काम कर रहा है और जीडीपी में इस क्षेत्र का बड़ा योगदान है। 

पर्यटन को घरेलू, राष्ट्रीय एवं अंतर्राष्ट्रीय वर्गों में बाँटा जा सकता है। यह एक कम लागत का व्यवसाय है जिसमें संगठित तथा असंगठित दोनों तरह के श्रमिकों को रोजगार मिलता है। भारतीय पर्यटन उद्योग के अंतर्गत पर्यटन स्थलों को निम्न वगों में बाँटा गया है-

धार्मिक पर्यटन स्थल, ऐतिहासिक एवं पुरातात्विक स्थल, प्राकृतिक पर्यटन स्थल Religious tourist places, historical and archaeological places, natural tourist places और world heritage sites in India भारत में स्थित विश्व धरोहर स्थल। 

पर्यटन विश्व भर में लाखों लोगों के लिये आजीविका का अवसर प्रदान करता है और इससे भी कहीं अधिक लोगों को अलग-अलग संस्कृतियों और प्राकृतिक खूबसूरती को करीब से देखने का अवसर प्रदान करता है। पर्यटन से सांस्कृतिक आदान-प्रदान में मदद मिलती है।

आंकड़ों के मुताबिक भारत में पर्यटन की गुंजाइश काफी है। इसका कारण यह है कि हमारे देश में ऐतिहासिक और प्राकृतिक क्षेत्रों की बहुलता है। इसके साथ ही चिकित्सा पर्यटन, योग जैसे नए-नए क्षेत्रों को भी पर्यटन से जोड़ा जा रहा है।

किसी क्षेत्र में पर्यटन के सतत एवं स्थायी विकास sustainable and permanent development of tourism हेतु सीधे तौर पर जैव विविधता का सतत् उपलब्धता से जुड़ा होना ' पारिस्थितिक पर्यटन ' (Eco- Tourism) है। भारत सरकार द्वारा पारिस्थितिक पर्यटन के सामान्य सिद्धांत हैं जैसे- क्षेत्र के समग्र आर्थिक विकास में स्थानीय समुदाय को शामिल किया जाना चाहिये।

इसके अलावा क्षेत्र के स्थानीय निवासियों के आजीविका के साधन एवं पारिस्थितिक पर्यटन संसाधनों के उपयोग को पहचान कर उसके समाधान हेतु प्रयास किया जाना चाहिये।

पारिस्थितिक पर्यटन जैव विविधता के संरक्षण के लिए एक जागरूकता अभियान है। पर्यटन उद्योग, सेवा क्षेत्र को गति प्रदान करता है। पर्यटन उद्योग के विकास के साथ हवाई सेवा, होटल, भूतल परिवहन आदि व्यवसायों में भी वृद्धि होती है। 

दुनिया भर में पर्यटन उद्योग काफी तरक्की कर रहा था लेकिन कोरोना महामारी में सब कुछ थम सा गया था। उस वक्त तो बड़ी-बड़ी अर्थव्यवस्थाएं चरमराने लगीं, उस वक्त चलती-फिरती जिंदगी मानो थम सी गई थी। महामारी का सबसे ज्यादा असर पर्यटन क्षेत्र पर पड़ा।

पर्यटन उद्योग महिलाओं, ग्रामीण समुदायों और अन्य वंचित समूहों के लिये सदैव से ही आय का एक प्रमुख स्रोत रहा है, ऐसे में इस उद्योग पर महामारी के प्रभाव के कारण इन लोगों के समक्ष भी आजीविका का संकट उत्पन्न हो गया था। महामारी ने इस उद्योग को बहुत ही बुरी तरह प्रभावित किया था। 

पर्यटन उद्योग से जुड़े करोड़ों लोगों को महामारी की मार झेलनी पड़ी, जिससे अर्थव्यवस्था को भारी नुकसान पहुंचा। दुनिया के हर हिस्से पर इसका गहरा असर पड़ा। आप लोगों को बता दें कि कोरोना महामारी के कारण वैश्विक पर्यटन उद्योग महामारी के कारण सबसे अधिक प्रभावित होने वाले उद्योगों में से एक है।

एक रिपोर्ट के अनुसार, दूसरी लहर के दौरान अप्रैल-जून 2020 तक भारत की जीडीपी में 24.4 फीसदी की गिरावट दर्ज की गई थी, जो देश के इतिहास में अब तक की सबसे बड़ी गिरावट थी।

कोरोना महामारी से पहले भारत में करीब चार करोड़ लोग पर्यटन उद्योग से जुड़े थे, लेकिन कोरोना की वजह से करीब तीन करोड़ लोगों का उस वक्त रोजगार छिन गया। अब पर्यटन की गति को दुबारा रफ्तार मिल चुकी है और अब पर्यटन उद्योग में घरेलू और वैश्विक दोनों स्तरों पर सुधार देखने को मिल रहा है। 

अब सरकार को विरासत स्थलों की स्वच्छता के विषय पर विशेष ध्यान देना होगा ताकि भारतीय विरासत स्थलों की ओर पर्यटकों का ध्यान आकर्षित किया जा सके। पर्यटन क्षेत्र में कार्य करने के लिये व्यापक स्तर पर लोगों को प्रशिक्षण दिये जाने की आवश्यक है, ताकि पर्यटकों को विश्व स्तरीय सुविधाएँ प्रदान की जा सकें।

पर्यटन और आतिथ्य उद्योग का भारतीय अर्थव्यवस्था पर काफी व्यापक प्रभाव पड़ता है और ये उद्योग भारतीय अर्थव्यवस्था के विकास में महत्त्वपूर्ण भूमिका अदा करता है।

राष्ट्रीय पर्यटन नीति 2023 National Tourism Policy 2023

राष्ट्रीय पर्यटन नीति का लक्ष्य 2030 तक भारत को विश्व के शीर्ष पांच पर्यटन केंद्रों में शुमार करना है, जो टिकाऊ, जिम्मेदार और समावेशी पर्यटन को बढ़ावा दे। लेकिन एक मुख्य बात ध्यान देने वाली है कि सिर्फ पर्यटन को बढ़ावा देना ही काफी नहीं है बल्कि इसके साथ-साथ प्रकृति का संरक्षण conservation of nature करना भी जरुरी है।

जैसे पर्यटक पहाड़ों और ऊंची-ऊंची चोटियों पर ट्रेवल करने जाते हैं और वहाँ पर प्लास्टिक और कचरा फेंक देते हैं और इस वजह से ग्लेशियरों पर कचरा जमा हो रहा है। इसके साथ प्राकृतिक संतुलन बिगड़ता जा रहा है। हम सब जानते हैं कि ग्लेशियर और ऊंची पहाड़ियां नदियों का मुख्य स्रोत हैं। 

अब जिम्मेदार पर्यटन हमारे देश की जरुरत है। अभी भी पर्यटकों को कई बुनियादी सुविधाओं से जुड़ी हुई समस्याओं का सामना करना पड़ता है। देश के प्रमुख पर्यटन स्थलों में फैली गंदगी एक बड़ी समस्या है, जिसके कारण पश्चिमी देशों के पर्यटक ऐसी जगहों में जाना पसंद नहीं करते।

पर्यटन उद्योग में पर्यटकों की सुरक्षा tourist safety बेहद जरूरी है। देश के नागरिकों को पर्यटकों के साथ उचित व्यवहार करने के लिए प्रेरित किया जाना चाहिए, ताकि उन्हें धोखाधड़ी जैसी समस्याओं का सामना न करना पड़े। 

अब हमें यह भी सोचने की जरुरत है कि पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए हमें और क्या-क्या करना चाहिए जिससे सतत, जिम्मेदार, विकासशील और मजबूत पर्यटन Sustainable, responsible, growing and strong tourism को बढ़ावा मिले।

हमें विदेशी पर्यटकों पर ध्यान देने से अधिक Domestic tourism घरेलू पर्यटन को भी बढ़ावा देना चाहिए, क्योंकि जब घरेलू पर्यटन को बढ़ावा देंगे तभी देश का पर्यटन क्षेत्र तरक्की करेगा।

पर्यटन स्थलों के अवसंरचना विकास और उनकी कनेक्टिविटी पर ध्यान दिया जाना आवश्यक है, जिससे यात्रियों को किसी भी पर्यटन स्थल पर जाने में कठिनाई का सामना न करना पड़े।

भारत से आउटबाउंड पर्यटन के लिए शीर्ष गंतव्य Top Destinations for Outbound Tourism from India 

दुबई: अपने शॉपिंग फेस्टिवल, विलासिता के अनुभवों और भारत से निकटता के लिए एक पसंदीदा स्थान।

यूएसए: आकर्षणों में न्यूयॉर्क शहर, ऑरलैंडो के थीम पार्क और ग्रांड कैन्यन शामिल हैं।

थाईलैंड: अपने आश्चर्यजनक समुद्र तटों, जीवंत नाइटलाइफ़ और सांस्कृतिक अनुभवों के लिए जाना जाता है।

सिंगापुर: सेंटोसा द्वीप और गार्डन बाय द बे जैसे आकर्षणों के साथ आधुनिकता और संस्कृति का मिश्रण पेश करता है।

मालदीव: हनीमून मनाने वालों के लिए स्वर्ग, पानी के ऊपर बंगले और प्राचीन समुद्र तट।

भारतीयों द्वारा पसंदीदा अंतर्राष्ट्रीय यात्रा स्थल Favorite International Travel Destinations by Indians

भारतीय यात्री, जो अपने विविध स्वाद और प्राथमिकताओं के लिए जाने जाते हैं, G20 शिखर सम्मेलन 2023 के बाद उन मुट्ठी भर गंतव्यों की ओर आकर्षित हुए, जिन्होंने उनकी कल्पना और घूमने की लालसा को पकड़ लिया।

भारतीय विश्व भ्रमणकर्ताओं के बीच पसंदीदा के रूप में उभरे शीर्ष स्थलों में दुबई, अमेरिका, थाईलैंड, सऊदी शामिल थे। अरब, और सिंगापुर.

दिलचस्प बात यह है कि इनमें से 70% यात्रियों ने एशियाई महाद्वीप के भीतर के स्थलों का पता लगाने का विकल्प चुना, जो एशिया की समृद्ध सांस्कृतिक टेपेस्ट्री और विविध अनुभवों के प्रति उनकी आत्मीयता को रेखांकित करता है।

ये प्राथमिकताएँ भारतीय यात्रियों की अनूठी रुचियों और झुकावों पर प्रकाश डालती हैं, जो अपनी यात्राओं में रोमांच, संस्कृति और विश्राम का सामंजस्यपूर्ण मिश्रण चाहते हैं।

पर्यटन उद्योग में भारत की भूमिका India's role in tourism industry

एक सकारात्मक संकेत A Positive Sign

जी20 शिखर सम्मेलन 2023 के बाद आउटबाउंड यात्रा के लिए एक प्रमुख स्रोत बाजार के रूप में भारत का पुनरुत्थान वैश्विक पर्यटन उद्योग के लिए आशा की किरण के रूप में कार्य करता है। यह न केवल भारत की अटूट भावना का प्रतीक है, बल्कि इसके नागरिकों के बीच यात्रा की बढ़ती मांग का भी प्रतीक है।

चुनने के लिए ढेर सारे लोकप्रिय स्थलों और खर्च करने की क्षमता में वृद्धि के साथ, भारतीय यात्री दुनिया की खोज जारी रखने और वैश्विक पर्यटन क्षेत्र के पुनरुद्धार में महत्वपूर्ण योगदान देने के लिए तैयार हैं। यह सकारात्मक संकेत उद्योग के भविष्य में विश्वास पैदा करता है और यात्रियों और पर्यटन पेशेवरों दोनों के लिए उज्जवल दिनों का वादा करता है।

पड़ोसी गतिशीलता Neighboring Dynamics

जैसे-जैसे हम जी20 शिखर सम्मेलन 2023 के बाद के परिदृश्य में गहराई से उतरते हैं, यह स्पष्ट हो जाता है कि भारत की यात्रा की गतिशीलता उसके दक्षिण एशियाई पड़ोसियों के साथ जुड़ी हुई है। जहां भारत आउटबाउंड यात्रा में अग्रणी बनकर उभरा, वहीं कुछ पड़ोसी देशों को आर्थिक चुनौतियों का सामना करना पड़ा।

उनकी मुद्राओं के अवमूल्यन, उच्च ऊर्जा और खाद्य कीमतों के कारण बढ़ते आयात बिल और कम आवक प्रेषण ने उनकी अर्थव्यवस्थाओं को प्रभावित किया। हालाँकि, इन चुनौतियों के बीच, भारत के निकट एक द्वीप राष्ट्र मालदीव ने अपने पर्यटन क्षेत्र में असाधारण सुधार देखा।

मालदीव असाधारण पुनर्प्राप्ति Maldives Exceptional Recovery

मौजूदा वैश्विक चुनौतियों के बावजूद, मालदीव अपने इनबाउंड पर्यटन क्षेत्र में उल्लेखनीय सुधार हासिल करने में कामयाब रहा, और आगमन और रात की बुकिंग दोनों के मामले में महामारी-पूर्व के स्तर को पार कर गया।

यह असाधारण वापसी यात्रियों के बीच एक पसंदीदा गंतव्य के रूप में मालदीव के आकर्षण को प्रदर्शित करती है, जिसमें भारतीय पर्यटकों की एक महत्वपूर्ण आमद भी शामिल है। प्रतिकूल परिस्थितियों के बीच वापस लौटने की मालदीव की क्षमता महामारी के बाद के युग में अपने पर्यटन उद्योगों को पुनर्जीवित करने के इच्छुक गंतव्यों के लिए प्रेरणा का काम करती है।

ये विवरण G20 शिखर सम्मेलन 2023 के बाद एशिया में आउटबाउंड यात्रा के लिए अग्रणी स्रोत बाजार के रूप में भारत के उद्भव के विभिन्न पहलुओं पर अधिक विस्तृत और जानकारीपूर्ण परिप्रेक्ष्य प्रदान करते हैं। वे आंकड़ों, पसंदीदा गंतव्यों, खर्च करने की आदतों और विकसित यात्रा परिदृश्य में मूल्यवान अंतर्दृष्टि प्रदान करते हैं। .

इनबाउंड पर्यटन के लिए भारत में लोकप्रिय गंतव्य Popular destinations in India for inbound tourism

दिल्ली, मुंबई और चेन्नई विदेशी यात्रियों के लिए हॉटस्पॉट बने रहे, जबकि हैदराबाद, अहमदाबाद और लखनऊ जैसे टियर 1 और छोटे शहरों ने पर्यटकों के बीच लोकप्रियता हासिल की।

  • भारत में चिकित्सा पर्यटन Medical Tourism in India

भारत चिकित्सा पर्यटन में वैश्विक नेता है, जो किफायती कीमतों पर उच्च गुणवत्ता वाली स्वास्थ्य सेवाएँ प्रदान करता है। चिकित्सा पर्यटन के लिए शीर्ष स्थलों में शामिल हैं:

चेन्नई: "भारत की स्वास्थ्य देखभाल राजधानी" के रूप में जाना जाने वाला चेन्नई विश्व स्तरीय अस्पतालों और विशेष चिकित्सा केंद्रों का दावा करता है।

मुंबई: मुंबई प्रसिद्ध कैंसर उपचार केंद्रों सहित चिकित्सा सुविधाओं की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदान करता है।

दिल्ली: राजधानी अंग प्रत्यारोपण और हृदय शल्य चिकित्सा सहित जटिल चिकित्सा प्रक्रियाओं का केंद्र है।

ये आर्टिकल इंग्लिश में पढ़ने के लिए कृपया यहाँ क्लिक करें 

  • भारत में साहसिक पर्यटन Adventure Tourism in India

भारत का विविध भूभाग साहसिक अवसरों की प्रचुरता प्रदान करता है:

हिमालय: हिमालय क्षेत्र में ट्रैकिंग, पर्वतारोहण और रिवर राफ्टिंग लोकप्रिय रोमांच हैं। मनाली और लेह-लद्दाख शीर्ष गंतव्य हैं।

गोवा: पैरासेलिंग, जेट-स्कीइंग और स्कूबा डाइविंग जैसे जल खेलों के लिए जाना जाता है।

ऋषिकेश: व्हाइट-वॉटर राफ्टिंग, बंजी जंपिंग और ट्रैकिंग की सुविधा प्रदान करता है।

भारत में सांस्कृतिक विरासत Cultural Heritage in India

भारत की ऐतिहासिक और सांस्कृतिक विरासत, जिसमें यूनेस्को विश्व धरोहर स्थल जैसे ताज महल भी शामिल है, सालाना लाखों पर्यटकों को आकर्षित करती है।

भारत में आध्यात्मिक पर्यटन Spiritual Tourism in India

भारत कई धर्मों का जन्मस्थान है, जो इसे आध्यात्मिक पर्यटन के लिए एक आकर्षण केंद्र बनाता है। वाराणसी, ऋषिकेश और अमृतसर कुछ आध्यात्मिक स्थल हैं।