सर्दियों में स्वस्थ रहने के लिए घर में लगाएं ये औषधीय पौधे

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29 Jan 2022
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ये कुछ औषधीय पौधे Medicinal plants हैं जिनको आप अपने घर में लगा सकते हैं और जिनके इस्तेमाल से आप बीमारियों से अपना बचाव कर सकते हैं। साथ ही इनको घर में लगाने से आपको कई फायदे होंगे। औषधीय गुणों से भरपूर इन पौधों को आप घर में लगाएंगे तो आपको `कभी डॉक्टर के पास जाने की जरुरत नहीं पड़ेगी। औषधीय पौधे आयुर्वेद का जरूरी हिस्सा हैं, जिसका इस्तेमाल सदियों से रोगों का उपचार करने के लिए होता आ रहा है। इनके गुणों के कारण ही अब अधिकतर लोग अपने आसपास या फिर घरों में इन पौधों को लगाने पर जोर दे रहे हैं। औषधीय पौधे सिर्फ स्वास्थ्य ही नहीं बल्कि पर्यावरण के लिए भी हर दृष्टि से फायदेमंद हैं।

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हर कोई अपने घर को हरियाली से हरा-भरा देखना चाहता है इसलिए घर में लोग कई तरह के पौधे लगाते हैं। घर में ज्यादातर लोग कोशिश करते हैं कि औषधीय पौधे ही लगाएं। क्योंकि औषधीय पौधे हानिरहित होते हैं और ये पौधे घर पर आसानी से उगाए जा सकते हैं। सबसे बड़ी बात स्वास्थ्य के लिए भी ये पौधे हर तरह से लाभदायक हैं। यदि आप इन पौधों को घर में लगाते हैं तो इनका इस्तेमाल करके आप औषधीय गुणों के बारे में जान जाएंगे। सर्दियों में स्वस्थ रहने के लिए घर में आप कुछ औषधीय पौधे लगा सकते हैं। हमारे आसपास कई पेड़ पौधे ऐसे हैं जिनके औषधीय गुणों की जानकारी सबको नहीं होती है इसलिए आज हम इस लेख के माध्यम से जानते हैं कि वो कौन-कौन से औषधीय पौधे हैं जिनको आप घर में लगाकर छोटी-बड़ी बीमारियों को ठीक कर सकते हैं। 

अलसी Flaxseed

अलसी Flaxseed एक बहुत ही फायदेमंद पौधा होता है। अलसी में ब्लड प्रेशर blood pressure और मोटापे को कम करने की भी क्षमता है। पाचन शक्ति बेहतर होती है यानि अलसी का नियमित सेवन करने से आप पाचन शक्ति Digestion Power को बढ़ा सकते हैं और यह त्वचा के लिए भी फायदेमंद है। अलसी के छोटे छोटे बीजों में सेहत के बड़े बड़े राज छुपे हुए हैं। ये हृदय रोगों heart diseases से आपकी रक्षा करते हैं। साथ ही कोलेस्ट्रॉल cholesterol को नियंत्रित करने का काम भी करते हैं। इसके अलावा यह खून में शर्करा के स्तर को भी नियंत्रित करने का काम भी करते हैं। अलसी में एंटीऑक्सीडेंटस Antioxidants और फाइटोकेमिकल्स phytochemicals भी पाया जाता है जिससे आपकी त्वचा पर जल्दी से झुर्रियां नहीं आती हैं और आपकी त्वचा स्वस्थ और चमकदार बनी रहती है। 

कैमोमाइल Chamomile

कैमोमाइल Chamomile भी एक ऐसा औषधीय पौधा है। ज्यादातर लोग इसे एक टी फ्लेवर tea flavor के रूप में जानते हैं। आयुर्वेद में इसका दवा की तरह इस्तेमाल किया जाता है। इसके फूल को सुखाकर चाय पत्ती के रूप में इस्तेमाल किया जाता है। इसमें एंटी एंजाइटी anti anxiety गुण होते हैं। यह शुगर को कंट्रोल करने में सहायक होते हैं। क्योंकि इसमें एंटी-डायबिटीज anti-diabetes के गुण भी पाए जाते हैं। डायबिटीज के मरीजों को कैमोमाइल चाय पीने की सलाह जाती है क्योंकि कैमोमाइल चाय में कैफीन caffeine नहीं पाया जाता है। साथ ही कैमोमाइल चाय के सेवन से बढ़ते वजन को कंट्रोल किया जा सकता है। कुल मिलकर हम कह सकते है कि औषधि के रूप में यह काफी अच्छी और पॉवरफुल है। 

हल्दी Turmeric

हल्दी का प्रयोग हम रोजाना भोजन के जरिए करते हैं। हल्दी सेहत के लिए कई रूपों में गुणकारी मानी जाती है। यह कई प्रकार से स्वास्थ्य लाभ पहुंचाती है। हल्दी, रोग प्रतिरोधक क्षमता immunity को भी मजबूत बनाने के बहुत काम आती है। हल्दी में एंटीसेप्टिक antiseptic और एंटीबायोटिक antibiotic गुण होते हैं। त्वचा संबंधी कई समस्याओं के लिए भी हल्दी का सेवन फायदेमंद रहता है। हल्दी का लेप लगाने से त्वचा में निखार आता है। हल्दी में मौजूद करक्यूमिन curcumin अल्जाइमर रोग से बचाता है। हल्दी के सेवन से रक्त साफ होता है। इसके प्रयोग से रक्त में मौजूद विषैले तत्व बाहर निकल जाते हैं और इससे ब्लड सर्कुलेशन blood circulation अच्छा होता है जिससे रक्त का धमनियों arteries में प्रवाह बढ़ जाता है। हल्दी के प्रयोग से हार्ट अटैक heart attack के खतरे को भी टाला जा सकता है। साथ ही हल्दी में एंटी कैंसर एक्टिविटी anti cancer activity पाई जाती है जो कैंसर से बचाए रखने में काफी मददगार साबित होती है।

टी-ट्री ऑयल tea tree oil

इसका उपयोग ज्यादातर असेंसिशल ऑयल के रूप में किया जाता है। क्योंकि टी ट्री ऑयल मुहांसे acne पैदा करने वाले माइक्रोब्स Microbes के विकास को धीमा कर देता है। टीट्री ऑयल घाव, कीड़े के काटने या त्वचा की स्थिति में सुधार करने के लिए काफी अच्छा है। क्योंकि टी-ट्री ऑयल में एंटी-बैक्टीरियल गुण होते हैं। यह स्किन से जुड़ी दिक्कतें दूर करने के लिए भी सहायक है। बालों में रुसी की समस्या होने पर भी आप इसका इस्तेमाल कर सकते हैं। इसके अलावा मच्छरों या फिर कीड़ों से छुटकारा पाने के लिए भी टी-ट्री ऑयल बड़ा काम आता है। ट्री-ऑयल फंगल इंफेक्शन fungal infection में काम आता है। इस तेल का इस्तेमाल त्वचा पर होने वाले लाल चकत्ते, खुजली, सूजन आदि में राहत पाने के लिए किया जा सकता है।

तुलसी Holy Basil

तुलसी से आप कई प्रकार की बीमारियों से बचाव कर सकते हैं। तुलसी (Holy Basil) का पौधा purify the environment वातावरण को शुद्ध करता है। इसमें विटामिन सी, कैल्शियम और मिनरल्स calcium and minerals, एंटी ऑक्सीडेंट, एंटी इंफ्लेमेंट्री anti inflammatory और एंटी बैक्टीरियल गुण पाये जाते हैं। तुलसी के औषधीय गुण इतने अधिक हैं कि आयुर्वेद Ayurveda में इसलिए इसको प्रमुख स्थान दिया गया है। सभी रोगों को दूर करने और शारीरिक शक्ति बढ़ाने वाले गुणों से भरपूर यह औषधीय पौधा हमारे लिए अत्यंत उपयोगी है। तुलसी के पत्ते के फायदे बुखार, बैक्टीरियल संक्रमण, दिल से जुड़ी बीमारियां और मलेरिया आदि में बहुत काम आती है। सर्दी-जुकाम Cold and cough होने पर ये अत्यंत लाभकारी है। तुलसी का रोजाना सेवन से मस्तिष्क की कार्यक्षमता बढ़ती है और याददाश्त तेज memory sharp होती है। इसके अलावा सिर दर्द, साइनसाइटिस रोग, दांत दर्द, कान दर्द, खांसी, टाइफाइड और रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने में भी तुलसी मददगार होती है। इस कोरोना महामारी corona pandemic में भी लोगों ने तुलसी का काढ़ा पीकर इस बीमारी से अपने को बचाया है। 

लैवेंडर Lavender

डेंटल प्रॉब्लम से पीडि़त लोगों के लिए लैवेंडर Lavender बहुत असरदार साबित होता है। एंटी इंफ्लेमेट्री गुणों के कारण लैवेंडर को अक्सर अरोमाथैरेपी aromatherapy में इस्तेमाल किया जाता है। लैवेंडर में एंटी बैक्टीरियल गुण होते हैं इसलिए इसका तेल आंतों की सूजन, दर्द और डायरिया में फायदेमंद होता है। लैवेंडर को खास उसकी खुशबू Fragrance के लिए जाना जाता है। इसकी खुशबु काफी मनमोहक होती है, जिससे इसकी खुशबू से आस-पास का वातावरण काफी अच्छा हो जाता है। माइग्रेन और नींद से जुडी समस्याओं में भी लैवेंडर का प्रयोग किया जाता है। एंटीसेप्टिक गुणों के कारण इसे जख्म, जले हुए और सन बर्न sun burn को ठीक करने के लिए भी इस्तेमाल किया जाता है। इसके अलावा सिर दर्द में लैवेंडर का तेल लगाने से काफी आराम मिलता है। 

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