आज महिलाएं हर क्षेत्र में अपनी जीत का परचम लहरा रही हैं। अपनी बुद्धिमत्ता, धैर्य और साहस के बल पर महिलाएं हर वो मुकाम हासिल कर रही है जो उनकी पहचान को और निखार रहा है। 8 मार्च यानी अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पूरी दुनिया की महिलाओं के एक उत्स्व के रूप में मनाया जाता है। यह दिन महिलाओं की उपलब्धियों को पहचाने और सम्मान दिलाने के लिए भी प्रासंगिक है।आज हम आप तक एक ऐसी ही महिला की कहानी पंहुचा रहे हैं जिसने अपने हौसले, लगन और मेहनत के बल पर बहुत बड़ी कामयाबी हासिल की और आज हर नारी की प्रेरणास्रोत है।
भारतीय मूल की अमेरिकी उपराष्ट्रपति कमला हैरिस (Kamala Harris) को आज कौन नहीं जानता। कमला हैरिस करोड़ों लोगों की प्रेरणा (Inspiration) है, उन्होंने कई मिसालें कायम की हैं।
अमेरिका की पहली अश्वेत और पहली दक्षिण एशियाई उपराष्ट्रपति कमला हैरिस ने उपराष्ट्रपति पद धारण करके इतिहास के पन्नों में अपना नाम सुनहरे अक्षरों में अंकित कर लिया है। वह सेन फ्रांसिस्को की डिस्ट्रिक्ट अटॉर्नी बनने वाली भी पहली महिला भारतवंशी हैं। इसके साथ ही वह महिला सशक्तिकरण की एक अभूतपूर्व मिसाल (An example of women empowerment) हैं। आज हम आपको बताएंगे कमला हैरिस ने बारे में कुछ दिलचस्प बातें जिन्हे पढ़कर आपके अंदर अपने सपनों को पूरा करने की भावना जरूर जाग्रत होगी।
भारतीय मूल की अमेरिकी उपराष्ट्रपति (American Vice President of Indian Origin) कमला हैरिस को 'फीमेल ओबामा' (Female Obama) के नाम से भी जाना जाता है। उनका जन्म 20 अक्टूबर 1964 को कैलिफोर्निया (California) के ओकलैंड (Oakland) में हुआ था। उनके माता-पिता (kamala harris parents) की मुलाक़ात का किस्सा भी बहुत मशहूर है, उनकी मां श्यामला गोपालन (Shyamala Gopalan) 1960 में भारत के तमिलनाडु से यूसी बर्कले पहुंची थी, उनके पिता डोनाल्ड जे हैरिस (Donald Jasper Harris) 1961 में ब्रिटिश जमैका से इकोनॉमिक्स में स्नातक की पढ़ाई करने यूसी बर्कले आए हुए थे। और इस तरह उनके माता पिता की मुलाक़ात हुई। उनके जीवन में दुःख का क्षण तब आया जब सिर्फ सात वर्ष की उम्र में उनके माता-पिता का तलाक हो गया। माता-पिता के तलाक के बाद कमला हैरिस और उनकी बहन माया को उनकी मां श्यामला गोपालन ने अकेले बड़ा किया। कमला और माया की परवरिश के दौरान उनकी मां ने दोनों बेटियों को अपनी पृष्ठभूमि (Background) से जोड़े रखा। कमला ने अपनी आत्मकथा 'द ट्रुथ्स वी होल्ड' (The Truths We Hold) में लिखा है कि उनकी मां को पता था कि वह दो अश्वेत बेटियों का पालन पोषण कर रहे हैं और उन्होंने सदा अश्वेत के तौर पर ही देखा जाएगा लेकिन उन्होंने अपनी बेटियों को ऐसे संस्कार दिए कि श्यामला और उनकी दोनों बेटियों को 'श्यामला एंड द गर्ल्स' के नाम से जाना जाने लगा।
कमला हैरिस ने अपनी आत्मकथा (Autobiography) में लिखा, "मेरी मां बहुत अच्छी तरह से समझती थी कि वह दो ब्लैक बेटियों की परवरिश कर रही है, और फिर भी उन्होंने हमारे अंदर आत्मविश्वास (Self-confidence) की भावना हमेशा बनाये रखी। आपको बता दें कि कमला हैरिस ने छोटी सी उम्र में भारत का दौरा किया था और तभी से वह अपने दादा जी (पिंगानाडु वेंकटरमन गोपालन) से बहुत प्रभावित थीं, जो उस समय भारत में बड़े सरकारी अधिकारी थे। कमला हैरिस के दादा जी ने भारतीय स्वतंत्रता संग्राम (Indian independence movement) में हिस्सा भी लिया था।
कमला बड़ी होने लगी और उसी के साथ उनकी कामयाबी का सफर भी आगे बढ़ने लगा। कमला ने हार्वर्ड विश्वविद्यालय (Harvard University) में अध्ययन के बाद कैलिफोर्निया विश्वविद्यालय (University of California) से कानून की पढ़ाई की और इसके उपरान्त हैरिस 1990 में सहायक जिला अटॉर्नी (District Attorney) के रूप में ओकलैंड में अल्मेडा काउंटी अभियोजक के कार्यालय (Alameda County District Attorney's Office) में शामिल हो गयीं, जहाँ उन्होंने यौन अपराधों की रोकथाम पर कार्य किया।
सन 1994 में कमला हैरिस कैलिफोर्निया की राजनीति (Politics) में एक पावर हाउस माने जाने वाले विली ब्राउन (Willie Brown) के सम्पर्क में आयीं और वहीं से दोनों में अच्छी जान-पहचान हो गयी। विली ब्राउन सीनेट (United States Senate) के सदस्य थे और हैरिस से 30 साल बड़े भी थे। उनकी प्रतिभा और अपने कार्य के प्रति समर्पणता से प्रभावित होकर विली ब्राउन ने कमला हैरिस को कैलिफोर्निया बेरोजगारी बीमा अपील बोर्ड और मेडिकल असिस्टेंस कमीशन (The California Unemployment Insurance Appeals Board and the Medical Assistance Commission) के पदों पर नियुक्त किया। सन 2003 में कमला हैरिस सेन फ्रांसिस्को की शीर्ष अभियोजक (San Francisco's top prosecutor) बनीं। और 2010 में वह 56.5 फीसदी वोटों के साथ कैलिफोर्निया की अटॉर्नी बनने वाली पहली अश्वेत महिला (Black lady) थीं।
सन 2004 में कमला हैरिस की दोस्ती बराक ओबामा (Barack Obama) के साथ हुई। यही कारण है कि 2008 में जब बराक ओबामा राष्ट्रपति (President) चुनाव लड़ रहे थे तो कैलिफोर्निया से उनका समर्थन करने में कमला सबसे आगे थीं। और सन 2013 में उस समय के राष्ट्रपति बराक ओबामा ने हैरिस को देश में सबसे अच्छी दिखनी वाली अर्टार्नी जनरल (Attorney General) कहा था। सन 2014 में उन्होंने अपने साथी वकील डगलस एम्पहॉफ (Douglas Emhoff) से विवाह किया और वह भारतीय, अफ्रीकी और अमेरिकी परंपरा के साथ-साथ यहूदी परंपरा से भी जुड़ गईं। इसके बाद सन 2016 में वह कैलिफोर्निया से जूनियर अमेरिकी सीनेटर (Junior American Sanitary) चुनी गईं.
मार्च 2017 में हैरिस ने जो बिडेन (Joe Biden) का समर्थन किया और कहा कि वो उन्हें अमेरिका का अगला राष्ट्रपति चुने जाने में हर मुमकिन मदद करेंगी। सन 2020 में कमला ने डेमोक्रेटिक राष्ट्रपति पद के नामांकन (Democratic presidential nomination) की माँग की थी। नवंबर 2020 के चुनाव में उपराष्ट्रपति (Vice president) के पद पर चुनाव जीतकर उन्होंने अभूतपूर्व मिसाल पेश की। उन्होंने 20 जनवरी, 2021 को उपराष्ट्रपति के रूप में शपथ ली और राष्ट्र के नाम अपने पहले संबोधन (First speech) के दौरान अपनी मां श्यामला गोपालन को याद कर भावुक भी हो गईं। उन्होंने अपने सम्बोधन में कहा कि आज मैं अपनी मां की वजह से यहां मौजूद हूं और इस कारण अपनी मां श्यामला गोपालन को धन्यवाद कहना चाहती हूं। कमला हैरिस को चुनाव में मिली जीत (Victory) के बाद भारत के तमिलनाडु (Tamil Nadu) के तिरुवर (Tiruvarur) जिले तुलासेंद्रापुरम गांव में भी खूब जश्न मनाया गया। कमला जानी-मानी ब्लैक नेता हैं, लेकिन उन्होंने अपनी भारतीय जड़ें कभी नहीं छोड़ी हैं। कमला कहती हैं कि मेरे नाम का मतलब है 'कमल का फूल।' भारतीय संस्कृति (Indian culture) में इसकी काफ़ी अहमियत है। कमल का पौधा पानी के नीचे होता है पर फूल पानी के सतह से ऊपर खिलता है यही कारण है कि जड़ें नदी तल से मज़बूती से जुड़ी होती हैं।'
उपराष्ट्रपति के पद पर जीतने के बाद हैरिस ने कहा कि उनकी जीत, महिलाओं के लिए एक शुरूआत है। उन्होंने जीत के बाद एक रैली में ये भी कहा "मैं इस ऑफिस में पहली महिला हो सकती हूं, लेकिन आखिरी नहीं। हर बच्ची, जो आज रात मुझे देख रही है, उसे समझ आएगा कि अमेरिका संभावनाओं (Possibilities) का देश है। हमारे पास बेहतर भविष्य बनाने की शक्ति है, आप अमेरिकियों का धन्यवाद कि आपने हमारे ऊपर विश्वास किया है।" इसके अलावा उन्होंने अपनी पार्टी के कार्यकर्ताओं और प्रचार में जुड़े लोगों को भी शुक्रिया कहा था।
कमला हैरिस पहली अश्वेत महिला हैं जिन्होंने विभिन्न पदों पर रहते हुए आपने कर्तव्यों का सफलता पूर्वक निर्वाहन किया। वह सेन फ्रांसिस्को (San Francisco) में डिस्ट्रिक्ट अटार्नी के रूप में भी काम कर चुकी हैं, 2003 में सेन फ्रांसिस्को की जिला वकील बनी थीं। इसके अलावा वह दो बार अटार्नी जनरल रहीं, फिर 2017 में सांसद बनीं। और एक दिलचस्प बात यह भी है कि बाइडेन का भी भारतीय संबंध रहा है। बाइडेन ने 2013 में अपनी मुम्बई यात्रा के दौरान कहा था कि "मेरे ग्रेट, ग्रेट, ग्रेट, ग्रेट, ग्रेट ग्रैंडफादर जिनका नाम जॉर्ज बाइडेन था और वह ईस्ट इंडिया ट्रेडिंग कम्पनी में कैप्टन थे।
कमला की कहानी बदलाव (Change) की एक आकर्षक कहानी है। कमला दो आप्रवासियों की बेटी हैं। जैसा कि पहले बताया, उनके पिता डोनाल्ड हैरिस जमैका के रहने वाले थे, जो स्टैनफोर्ड यूनिवसटी में पढ़ाते थे और कमला हैरिस की मां श्यामला गोपालन चेन्नई की रहने वाली थीं।
कमला हैरिस का ये सफर (Journey) बताता है कि भारत मूल्यों व संस्कृति को संजोय हुए वो विदेश में अपना हर कदम सफलता की ओर आगे बढ़ा रहीं है। उनका जीवन हम सभी के लिए प्रेरणादायी है। एक बात जो हमे उनके सफर से सीखनी चाहिए वो ये है कि हमे कभी अपने सपनों को नहीं छोड़ना चाहिए। अपने संघर्षों को अपनी ताकत बनाकर आप सफलता को प्राप्त कर सकते हैं। कमला हैरिस ने अपने जीवन में कई परेशानियों का सामना किया पर कभी हार नहीं मानी। यही वजह है कि वो आज करोड़ों भारतीय महिलाओं के साथ-साथ पूरे विश्व के लिए एक प्रेरणास्रोत हैं।
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