किसी भी व्यक्ति की पहचान उसके गुणों और व्यक्तित्व से होती है। एक सफल इंसान का समाज में आदर नहीं हो सकता अगर उसका दूसरों के प्रति व्यवहार अच्छा ना हो। अच्छे व्यवहार और आदतों का मनुष्य के जीवन में बहुत महत्व होता है। इसलिए कहा जाता है कि बच्चों में अच्छी आदतों का संचार बचपन से ही शुरु कर देना चाहिए। माता-पिता बच्चों के व्यवहार को आकार देने और मार्गदर्शन करने का काम करते हैं। प्रत्येक माता-पिता को अपने बच्चों के व्यवहार और आदतों पर ग़ौर करना चाहिए।
किसी भी व्यक्ति की पहचान उसके गुणों और व्यक्तित्व से होती है। एक सफल इंसान का समाज में आदर नहीं हो सकता अगर उसका दूसरों के प्रति व्यवहार अच्छा ना हो। अच्छे व्यवहार और आदतों का मनुष्य के जीवन में बहुत महत्व होता है। इसलिए कहा जाता है कि बच्चों में अच्छी आदतों का संचार बचपन से ही शुरु कर देना चाहिए। माता-पिता बच्चों के व्यवहार को आकार देने और मार्गदर्शन करने का काम करते हैं। प्रत्येक माता-पिता को अपने बच्चों के व्यवहार और आदतों पर ग़ौर करना चाहिए। बच्चे मिट्टी के समान होते हैं, जिस तरह मिट्टी को कोई भी आकार देकर उसे सुंदर चीज़ों में तब्दील किया जा सकता है, उसी तरह बच्चों को भी अच्छे संस्कार और आदतों से अवगत कराकर, उन्हें बेहतर इंसान बनने के लिए प्रेरित किया जा सकता है।
बच्चों में अच्छी आदतों का विकास
हम सभी के लिए अपनी आदतों को बदलना वाकई में एक मुश्किल काम है फिर चाहे वह कोई अच्छी आदत हो या फिर बुरी। हर व्यक्ति अपने आसपास की चीज़ों से काफी प्रभावित होता है और उनमें से कई चीज़ों को वह अपने जीवन में अपनाने की कोशिश भी करता है, लेकिन उन्हें अपनाने से पहले यह विचार करना भी आवश्यक है कि वह सही है या नहीं। गलत आदत को अपनाकर उसे सही अर्थों में तब्दील करना असंभव सा हो जाता है। कहा जाए तो यह सबसे कठिन कामों में से एक बन जाता है। लेकिन बच्चों के लिए यह कार्य कुछ हद तक सरल हो सकता है। बच्चों के लिए अच्छी आदतों को अपनाना आसान हो सकता है। इसके लिए उन्हें बचपन से ही अच्छी आदतों की ओर लेकर जाना अति आवश्यक होता है। यह कार्य माता-पिता से बेहतर कोई और नहीं कर सकता। बच्चे अक्सर वही करते हैं जो वह देखते हैं या जो उन्हें बताया जाता है। वे जैसे जैसे बड़े होते हैं वैसे ही अपने माता-पिता के व्यवहार और आदतों की नकल करते हैं और माता-पिता अपने बच्चों के लिए आदर्श होते हैं। इसलिए हर माता-पिता को अपने बच्चों को मार्गदर्शित करने के लिए उन्हें अच्छी आदतों से अवगत ज़रूर कराना चाहिए।
कई माता-पिता अपने बच्चों की शिक्षा पर अधिक ध्यान देते हैं, जिसके चलते वह उनमें नैतिक मूल्यों को विकसित करना भूल जाते हैं। बच्चों के लिए पढ़ाई जितनी आवश्यक है, उतना ही उनमें अच्छी आदतों और नैतिक मूल्यों का होना भी आवश्यक है। बच्चों को अच्छी आदत ना सिखाना उन्हें भविष्य में गलत दिशा में जाने के लिए प्रेरित करता है। आज हम आपको कुछ ऐसी आदतों के बारे में बताएंगे, जो आप अपने बच्चों में निश्चित रूप से डाल सकते हैं।
1. दिनचर्या का पालन करना
बच्चों को हर एक काम करने के लिए निश्चित दिनचर्या का पालन कराना चाहिए। प्रत्येक काम को एक निश्चित समय पर करने के लिए प्रेरित करना चाहिए। बच्चों के लिए 8 घंटे की नींद अच्छी होती है। ऐसे में उन्हें समय से उठने और सोने की आदत से अवगत कराना चाहिए।
2. सार्वजनिक व्यवहार और कृतज्ञता है आवश्यक
बच्चों में अच्छे व्यवहार करने की आदत बचपन से ही डाली जानी चाहिए। लोगों से उचित ढंग में बात करना, सुरक्षा नियमों का पालन करना, बड़ों का आदर करना आदि ऐसी आदत है, जो बच्चों में बचपन से ही डालना आवश्यक है। उन्हें सभी का सम्मानपूर्वक अभिवादन करना सिखाएं। उन्हें सिखाया जाना चाहिए कि वे विभिन्न लोगों से किस तरीके से बात करें।
3. धन का उचित ढंग से उपयोग
बच्चों को पॉकेट मनी देने पर इसका आकलन अवश्य कर लें कि वह उन पैसों का इस्तेमाल कहां और किन चीज़ों में करते हैं। उन्हें पैसों का सही ढंग से उपयोग करना सिखाना चाहिए जिससे कि वे गलत खर्चों से बच सकें।
4. सच बोलने की आदत डालें
झूठ बोलने जैसी बुरी आदतों से बच्चों को हमेशा बचाना चाहिए। उन्हें सत्य बोलना सिखाया जाना चाहिए। ऐसे में उन्हें झूठ बोलने के बुरे परिणामों के बारे में बताना चाहिए, जिससे वह सच बोलने की आदत को अपने भीतर उतार सकें।
5. जानवरों और पक्षियों से प्रेम
बच्चों को जानवरों और पक्षियों को किसी भी प्रकार से नुकसान न करने के बारे में बताना चाहिए। उन्हें यह समझाना चाहिए कि पशु पक्षी भी जीवित प्राणी हैं और उनके प्रति प्रेम की भावना रखनी चाहिए।
बच्चों के अंदर इन आदतों को डालकर उन्हें सही रास्ता दिखाया जा सकता है। यह कुछ हद तक कठिन ज़रूर हो सकता है, लेकिन बच्चों के अच्छे भविष्य के लिए यह ज़रूरी भी है। जीवन में सफलता सिर्फ पढ़ने और पैसे कमा लेने से नहीं आ सकती, बल्कि इसके साथ-साथ अच्छी आदतें और व्यवहार मनुष्य के व्यक्तित्व को निखारने में विशेष भूमिका निभाती हैं।